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बहुधात्विसक पिण्डिेका कार्यक्रम

बहुधात्‍विक पिण्‍डिका कार्यक्रम

भारत का मध्य हिंद महासागर के 75,000 वर्ग कि.मी. क्षेत्र में इंटरनेशनल सीबेड एथॉरिटी के साथ अन्वेषण अनुबंध है। मध्य हिंद महासागर से एकत्र नमूनों के विस्तृत रासायनिक विश्लेषण, व्याख्या के आधार पर संभावित खनन स्थल हेतु 7900 वर्ग कि. मी. के कुल क्षेत्र की पहचान की गई थी। पर्यावरण प्रभाव आकलन अध्ययन के एक भाग के रूप में, एक 3 आयामी हाइड्रोडायनैमिक तलछट मॉडल विकसित किया गया था। क्रॉलर, कलेक्टर और क्रशर और एक दूरस्थ प्रचलित कृत्रिम पिण्‍डिका बिछाने वाली प्रणाली को मिलकर एक एकीकृत खनन प्रणाली विकसित की गई है और इसका 512 मीटर गहरे पानी में परीक्षण किया गया।

निष्‍कर्षण धातु विज्ञान में अर्थात 4 कि.ग्रा. पैमाने पर प्रत्यक्ष गलाने का अनुकूलन, अनावश्यकता के रूप तालचर कोयले के साथ रोस्टिंग कमी का अनुकूलन, मैंगनीज केक से इलेक्‍ट्रोलायटिक मैंगनीज डाइऑक्साइड (ईएमडी) की तैयारी, विद्युत रासायनिक बंटवारे से अमोनियम सल्फेट से अमोनिया की प्राप्ति, मैंगनीज नोड्यूल के हाई प्रेशर एसिड लीचिंग  आदि के क्षेत्र में किए गए अनुसंधान शामिल हैं। भारत 2009 की शुरुआत से 5 वर्ष की अवधि के लिए इंटरनेशनल सीबेड एथॉरिटी (आईएसए) के निवेशक वर्ग में परिषद के सदस्य के रूप में निर्वाचित किया गया है।